गांव खोखर के चार पंचायत मैंबरों ने किसान आंदोलन का समर्थन करते हुए अपने पदों से दिया इस्तीफा

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गांव खोखर के चार पंचायत मैंबरों ने किसान आंदोलन का समर्थन करते हुए अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है।
उन्होंने अपना इस्तीफा ओढ़ां के खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी को सौंपते हुए केंद्र सरकार द्वारा लागू किए तीनों कृषि कानूनों को वापिस लेने की मांग उठाई है।गांव खोखर में वार्ड न. 2 के मैंबर पंचायत गुरप्रीत सिंह, वार्ड न. 5 से मैंबर पंचायत जीवन सिंह, वार्ड न. 6 से मैंबर पंचायत सुखपाल सिंह व वार्ड न. 7 से मैंबर पंचायत मलकीत कौर ने अपने संयुक्त इस्तीफा पत्र में लिखा है कि केंद्र सरकार ने कृषि संबंधित तीन बिल पास किए हैं वह सरासर गलत हैं व किसानों के साथ अन्याय है। इसके खिलाफ किसानों का आंदोलन पिछले करीब 70 दिनों से चल रहा है। लेकिन केंद्र सरकार किसानों की मांग को मान नहीं रही है। कड़ाके की सर्दी के कारण किसानों की जान भी जा रही है जिसकी संख्या 200 पार जा चुकी है। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार किसान आंदोलन को खत्म कराने के लिए तरह-तरह के षडयंत्र भी रच रही है। आरोप लगाया कि ऐसा ही षडयंत्र सरकार द्वारा गत 26 जनवरी को भी लाल किले से संबंधित घटना द्वारा रचा गया। इसमें सरकार कामयाब भी रही ताकि इस आंदोलन को जातीय रंग दिया जा सके और आंदोलन बिखर कर रह जाए। चारों पंचायत मैंबरों ने कहा कि इसीलिए किसान आंदोलन के प्रति सरकार के रवैये को देखते हुए उन्होंने अपने पद से इस्तीफा देने का फैंसला लिया है। साथ ही उन्होंने लिखा कि उनका इस्तीफा मंजूर करने के साथ-साथ केंद्र सरकार को भी सूचित किया जाए ताकि केंद्र सरकार अपनी गलत नीतियों को समझ सके और तीनों कृषि कानून सरकार वापिस ले। उन्होंने आंदोलन के दौरान शहीद हुए किसानों को शहीद का दर्जा देने की मांग भी की। अंत में यह भी मांग की गई है कि दिल्ली आंदोलन में बैठे किसानों के जान-माल की सुरक्षा भी की जाए।इसे लेकर हरियाणा किसान एकता डबवाली के प्रतिनिधि एसपी सिंह मसीतां व अन्य ने किसान आंदोलन के समर्थन में इस्तीफा देने वाले गांव खोखर के चारों पंचायत मैंबरों का स्वागत किया है। श्री मसीतां ने कहा कि इससे आंदोलन को और मजबूती मिली है।

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