स्वास्थ्य एवं शिक्षा की बदत्तर स्थिति में सुधार हेतु बनाया जाए कानून : दीपक गर्ग
Dabwalinews.com
देश में वर्तमान स्वास्थ्य और शिक्षा क्षेत्र की बदत्तर हालत को देखते हुए शहर के अग्रणी समाजसेवी दीपक गर्ग ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखकर इन क्षेत्रों में सुधार हेतु कानून बनाने की मांग की है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को भेजे पत्र में उन्होंने कहा कि हमारे देश में आम नागरिक की मूलभूत जरूरत स्वास्थय एवं शिक्षा की सरकारी संस्थानों में स्थिति बद से बदत्तर है। सरकार द्वारा इनमें सुधार हेतू जो बजट एवं योजनाए बना कर प्रशासनिक अधिकारियों को लागू करने हेतू भेजी जाती है वह मात्रा समाचार की सुर्खिया बन कर रह जाती है धरातल पर इन विभागों में कोई सुविधा एवं सुधार दूर दूर तक नजर नही आता है। जबकि प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा प्रैस विज्ञप्ती जारी करके सुविधा एवं सुधार के नाम पर बड़े बड़े दावे एवं घोषणाएं की जाती है। कोरोना महामारी के दौरान सरकारी संस्थानों ने भी सरकार द्वारा एवं प्रशासनिक अधिकारियों की तरफ से कोविड मरीजों के इलाज हेतू मिलने वाली घोषित सुविधाए मिलना तो बहुत दूर की बात प्राथमिक सुविधाए भी धरातल पर कहीं नजर नहीं आई।
दीपक गर्ग ने बताया कि कोरोना महामारी के दौरान कोरोना संक्रमित होने से उन्होंने आपने माता पिता को खोया है। उस समय सरकारी संस्थानों की जो स्थिति थी उसको उन्होंने अपनी आखो से देखा और भुगता है। उस समय कोरोना संक्रमित मरीजों व उनके सबंधी एवं मित्रगणों को सुविधाए के अभाव में बेवसी की हालात में तडफ़ते हुए देखा है।दीपक गर्ग ने प्रधानमंत्री से सरकारी स्वास्थ्या एवं शिक्षा के संस्थानो के सुधार हेतू कानून बनाने की मांग की। उन्होंने प्रधानमंत्री से लेकर सरपंच तक निर्वाचित होने वाले व्यक्ति एवं प्रशासनिक अधिकारी एवं दोनो संस्थानों में कार्यरत उच्च अधिकारी से लेकर चुर्तर्थ श्रेणी कर्मचारी एवं उनके परिवारो के लिए इलाज एवं शिक्षा सरकारी संस्थानो में लेना जरूरी हो ताकि नीति बनाने वाले देख सके कि उनके द्वारा बनाई गई नीतियां धरातर पर कैसे काम करती है।
गर्ग ने कहा कि स्वास्थय एवं शिक्षा के इलावा अन्य विभागों में सरकारी योजनाए को धरातल पर लागू करवाने की सीधी जिम्मेवारी तय नही होती तब तक देश के सभी विभागों की हालात भी सुधरने वाले नहीं है। जिम्मेवारी तय न होने के कारण देश का आम नागरिक अपनी मूलभूत सुविधाए एवं अधिकारों से वचित है एवं स्वास्थय हेतू सरकारी संस्थाने में सुविधा न मिलने के कारण काफी लोग को अपनी जान से हाथ धोना पड़ता है। इसलिए इसमें सुधार के लिए सीधी जिम्मेवारी तय करने एवं कानून बनाने की सख्त जरूरत है ताकि आमलोगो को मूलभूत सुविधाए से वंचित न रहना पड़े।
Source Link - Press Release
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