चुनौतियों से निपटकर सिरसा को विकास की राह पर आगे बढ़ा रहे उपायुक्त अनीश यादव
Dabwalinews.com
जिला उपायुक्त अनीश यादव के दो माह के कार्यकाल में मजबूत भविष्य की नींव दिखाई पड़ रही है। जिस प्रकार उन्हें अल्प समय में सिरसा की विभिन्न समस्याओं के समाधान का रास्ता खोजा है, उसकी वजह से भविष्य में सिरसावासियों का जीवन सुखद हो पाएगा।
जिन समस्याओं से लोग कई दशकों से जूझते रहे है, उन समस्याओं का निदान हो पाएगा। श्री यादव ने उपायुक्त के रूप में 4 जून को सिरसा का कार्यभार संभाला था। उनकी कार्यशैली यह बयान करती है कि वे समस्याओं को लटकाने की बजाए उसका स्थायी हल करने के पक्षधर है। वैसे तो दो माह का समय बहुत कम होता है किसी के कामकाज के आंकलन का। मगर, जिस प्रकार की कार्यशैली और कुशल नेतृत्व का प्रदर्शन इन दो माह के दौरान दिखाई दिया है, उससे सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि सिरसा जिला का कायाकल्प होना तय है। बरसाती पानी के भराव की समस्या से सिरसावासी पिछले कई दशकों से जूझ रहे है। जलभराव के कारण लोगों के कामधंधे पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। जिन बाजारों में पानी का ठहराव होता है, वहां दुकानें बंद रखनी पड़ती है। अनेक रिहायशी इलाकों में जलभराव के कारण लोगों की दिनचर्या ही गड़बड़ा जाती है। ऐसे में जिला उपायुक्त अनीश यादव की ओर से सीमित संसाधनों के बावजूद बरसाती पानी की निकासी की समस्या का स्थायी समाधान खोजा। स्टार्म वॉटर की योजना को सिरे चढ़ाया गया। निकट भविष्य में इसके सार्थक परिणाम सामने आएंगें और लोगों को इस समस्या से हमेशा के लिए निजात मिल पाएगी।उपायुक्त अनीश यादव ने हिसार रोड से दिल्ली पुल तक बरसाती पानी की निकासी की योजना में आई बाधाओं को भी दूर करवाने का कार्य किया है। यह योजना दूसरे विभागों से एनओसी की वजह से अधर में लटकी हुई थी। उन्होंने शहर की साफ-सफाई और सौंदर्यकरण की दिशा में भी जोरदार कार्य किया है। जिन एरिया की कभी सुध नहीं ली गई। अब उन एरिया में साफ-सफाई होने लगी है। डबवाली रोड से सिविल अस्पताल को जाने वाली इंडस्ट्रियल एरिया रोड की कई दशकों के बाद सुध ली गई। इस रोड के फुटपाथ से अब झाडिय़ां और मिट्टी हटाई गई है। डबवाली रोड पर बने जिन बरसाती नालों की पिछले कई सालों से सफाई तक नहीं की गई थी। बरसाती नालों की साफ-सफाई को लेकर नगर परिषद, लोक निर्माण विभाग और पब्लिक हेल्थ विभाग द्वारा अपना-अपना पल्ला झाड़ा जा रहा था। उपायुक्त अनीश यादव के प्रयासों से इस बरसाती नाले की सफाई का अभियान शुरू हो सका। चत्तरगढ़पट्टी फाटक से एयरफोर्स तक का एरिया पूरी तरह से जलमग्र हो जाता था। वहां अब बरसाती नालों की सफाई से राहत मिली है। यह उपायुक्त अनीश यादव के कार्य करने की शैली को दर्शाता है।
वेक्सीनेशन को बनाया जनअभियान
कोरोना से बचाव को लेकर टीकाकरण के अभियान को जिला उपायुक्त अनीश यादव ने जन अभियान बना दिया। जिसके सार्थक परिणाम सामने आने लगे है। स्वास्थ्य विभाग के प्रयासों के बावजूद टीकाकरण अभियान को अपेक्षित सहयोग नहीं मिल रहा था। लोग टीकाकरण के लिए सामने आने से कतरा रहे थे। मगर, उपायुक्त अनीश यादव ने इसे जन अभियान बनाने के लिए नगर की विभिन्न सामाजिक, धार्मिक, शैक्षणिक, व्यापारिक संस्थाओं से तालमेल बनाया। जिसके बाद सिरसा में टीकाकरण एक अभियान बन गया है। हर ओर टीकाकरण कैंप लगाए जा रहे है। लोग घर द्वार पर लगाए गए शिविर में टीका लगवाने के लिए पहुंच रहे है।
गजब की प्रशासनिक कुशलता का प्रदर्शन
उपायुक्त अनीश यादव की कार्यशैली से ऐसा प्रतीत होता है जैसे उन्हें कई दशकों का अनुभव हो। उन्होंने किसान आंदोलन के मामले का जिस सूझबूझ से सामना किया, वह सराहनीय है। डिप्टी स्पीकर की गाड़ी पर हुए हमले मामले में पुलिस की ओर से पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया। जिसके बाद किसानों ने उन्हें रिहा करने को लेकर एसपी कार्यालय के घेराव की चेतावनी दी। सिरसा में तनाव की स्थिति बन गई। मगर, उन्होंने जिस प्रकार की सूझबूझ और कुशल नेतृत्व का प्रदर्शन किया, उससे मामला शांतिपूर्वक निपट गया।
फ्रंटलाइन पर संभालते है मोर्चा
उपायुक्त अनीश यादव की खूबी यह है कि समस्या के समाधान के लिए फ्रंटलाइन पर जाने में गुरेज नहीं करते। वे दफ्तर में बैठकर निर्देश देने की बजाए धरातल की हकीकत से वाकिफ होना चाहते है। बाढ़ से बचाव के किए गए उपायों की हकीकत जानने के लिए वे घग्गर के उन इलाकों तक पहुंचें, जहां चारपहिया गाड़ी नहीं जा सकती थी। उन्होंने बाइक की सवारी करके घग्घर के उन तटबंधों को नजदीक से देखा, जहां टूटने का खतरा बना रहता है। समय पर किए गए उपाय का ही परिणाम रहा कि इस बार घग्घर में इतना अधिक पानी आया, जितना वर्ष 2010 में आया था। लेकिन मजबूत किए गए तटबंध और प्रशासनिक अमले की सक्रियता की वजह से कोई खतरा उत्पन्न नहीं हुआ। अब तो घग्घर का जलस्तर भी कम हो चुका है।
जिला उपायुक्त अनीश यादव के दो माह के कार्यकाल में मजबूत भविष्य की नींव दिखाई पड़ रही है। जिस प्रकार उन्हें अल्प समय में सिरसा की विभिन्न समस्याओं के समाधान का रास्ता खोजा है, उसकी वजह से भविष्य में सिरसावासियों का जीवन सुखद हो पाएगा।
जिन समस्याओं से लोग कई दशकों से जूझते रहे है, उन समस्याओं का निदान हो पाएगा। श्री यादव ने उपायुक्त के रूप में 4 जून को सिरसा का कार्यभार संभाला था। उनकी कार्यशैली यह बयान करती है कि वे समस्याओं को लटकाने की बजाए उसका स्थायी हल करने के पक्षधर है। वैसे तो दो माह का समय बहुत कम होता है किसी के कामकाज के आंकलन का। मगर, जिस प्रकार की कार्यशैली और कुशल नेतृत्व का प्रदर्शन इन दो माह के दौरान दिखाई दिया है, उससे सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि सिरसा जिला का कायाकल्प होना तय है। बरसाती पानी के भराव की समस्या से सिरसावासी पिछले कई दशकों से जूझ रहे है। जलभराव के कारण लोगों के कामधंधे पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। जिन बाजारों में पानी का ठहराव होता है, वहां दुकानें बंद रखनी पड़ती है। अनेक रिहायशी इलाकों में जलभराव के कारण लोगों की दिनचर्या ही गड़बड़ा जाती है। ऐसे में जिला उपायुक्त अनीश यादव की ओर से सीमित संसाधनों के बावजूद बरसाती पानी की निकासी की समस्या का स्थायी समाधान खोजा। स्टार्म वॉटर की योजना को सिरे चढ़ाया गया। निकट भविष्य में इसके सार्थक परिणाम सामने आएंगें और लोगों को इस समस्या से हमेशा के लिए निजात मिल पाएगी।उपायुक्त अनीश यादव ने हिसार रोड से दिल्ली पुल तक बरसाती पानी की निकासी की योजना में आई बाधाओं को भी दूर करवाने का कार्य किया है। यह योजना दूसरे विभागों से एनओसी की वजह से अधर में लटकी हुई थी। उन्होंने शहर की साफ-सफाई और सौंदर्यकरण की दिशा में भी जोरदार कार्य किया है। जिन एरिया की कभी सुध नहीं ली गई। अब उन एरिया में साफ-सफाई होने लगी है। डबवाली रोड से सिविल अस्पताल को जाने वाली इंडस्ट्रियल एरिया रोड की कई दशकों के बाद सुध ली गई। इस रोड के फुटपाथ से अब झाडिय़ां और मिट्टी हटाई गई है। डबवाली रोड पर बने जिन बरसाती नालों की पिछले कई सालों से सफाई तक नहीं की गई थी। बरसाती नालों की साफ-सफाई को लेकर नगर परिषद, लोक निर्माण विभाग और पब्लिक हेल्थ विभाग द्वारा अपना-अपना पल्ला झाड़ा जा रहा था। उपायुक्त अनीश यादव के प्रयासों से इस बरसाती नाले की सफाई का अभियान शुरू हो सका। चत्तरगढ़पट्टी फाटक से एयरफोर्स तक का एरिया पूरी तरह से जलमग्र हो जाता था। वहां अब बरसाती नालों की सफाई से राहत मिली है। यह उपायुक्त अनीश यादव के कार्य करने की शैली को दर्शाता है।
वेक्सीनेशन को बनाया जनअभियान
कोरोना से बचाव को लेकर टीकाकरण के अभियान को जिला उपायुक्त अनीश यादव ने जन अभियान बना दिया। जिसके सार्थक परिणाम सामने आने लगे है। स्वास्थ्य विभाग के प्रयासों के बावजूद टीकाकरण अभियान को अपेक्षित सहयोग नहीं मिल रहा था। लोग टीकाकरण के लिए सामने आने से कतरा रहे थे। मगर, उपायुक्त अनीश यादव ने इसे जन अभियान बनाने के लिए नगर की विभिन्न सामाजिक, धार्मिक, शैक्षणिक, व्यापारिक संस्थाओं से तालमेल बनाया। जिसके बाद सिरसा में टीकाकरण एक अभियान बन गया है। हर ओर टीकाकरण कैंप लगाए जा रहे है। लोग घर द्वार पर लगाए गए शिविर में टीका लगवाने के लिए पहुंच रहे है।
गजब की प्रशासनिक कुशलता का प्रदर्शन
उपायुक्त अनीश यादव की कार्यशैली से ऐसा प्रतीत होता है जैसे उन्हें कई दशकों का अनुभव हो। उन्होंने किसान आंदोलन के मामले का जिस सूझबूझ से सामना किया, वह सराहनीय है। डिप्टी स्पीकर की गाड़ी पर हुए हमले मामले में पुलिस की ओर से पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया। जिसके बाद किसानों ने उन्हें रिहा करने को लेकर एसपी कार्यालय के घेराव की चेतावनी दी। सिरसा में तनाव की स्थिति बन गई। मगर, उन्होंने जिस प्रकार की सूझबूझ और कुशल नेतृत्व का प्रदर्शन किया, उससे मामला शांतिपूर्वक निपट गया।
फ्रंटलाइन पर संभालते है मोर्चा
उपायुक्त अनीश यादव की खूबी यह है कि समस्या के समाधान के लिए फ्रंटलाइन पर जाने में गुरेज नहीं करते। वे दफ्तर में बैठकर निर्देश देने की बजाए धरातल की हकीकत से वाकिफ होना चाहते है। बाढ़ से बचाव के किए गए उपायों की हकीकत जानने के लिए वे घग्गर के उन इलाकों तक पहुंचें, जहां चारपहिया गाड़ी नहीं जा सकती थी। उन्होंने बाइक की सवारी करके घग्घर के उन तटबंधों को नजदीक से देखा, जहां टूटने का खतरा बना रहता है। समय पर किए गए उपाय का ही परिणाम रहा कि इस बार घग्घर में इतना अधिक पानी आया, जितना वर्ष 2010 में आया था। लेकिन मजबूत किए गए तटबंध और प्रशासनिक अमले की सक्रियता की वजह से कोई खतरा उत्पन्न नहीं हुआ। अब तो घग्घर का जलस्तर भी कम हो चुका है।
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